साइबर ठगी : बदलते समय में सोने की ईंट बेचने वाले भी हुए आधुनिक
साइबर ठगी : बदलते समय में सोने की ईंट बेचने वाले अपराधी भी हुए आधुनिक
-बरसाना पुलिस ने दबोचे दो साइबर ठग, नटराज पेंसिल पेकिंग के नाम पर करते थे ठगी
-बरसाना के हाथिया गांव निवासी वसीम, अलवर के सैकम को किया गिरफ्तार, भेजा जेल
-सोशल मीडिया के माध्यम से लोगों को रोजगार के नाम पर बनाते थे ठगी का शिकार
-मथुरा पुलिस ने किया साइबर क्राइम की दुनिया में बदलते युग के तौर तरीकों का खुलासा
मथुरा । उत्तर प्रदेश और राजस्थान की सीमा से लगे मेवात क्षेत्र में काफी समय पहले सोने की ईंट बेचने और खरीदने के नाम पर ठगी का धंधा खूब जोरों से चलता था जिसको लेकर पुलिस द्वारा जगह-जगह होर्डिंग बैनर तक लगाये जाते थे लेकिन अब बदलते समय के साथ सोने की ईंट बेचने वालों ने ठगी के तौर तरीके को आधुनिक रूप दे दिया है, साइबर क्राइम की दुनिया में सोने की ईंट बेचने वाले क्या कुछ कर रहे हैं इसका खुलासा मथुरा पुलिस की कार्यवाहियों में होता रहा है, इसी श्रृंखला में बरसाना पुलिस ने दो ठगों को पकड़कर साइबर ठगी के मामले का करने में एक बार फिर से सफलता हांसिल की है ।
थाना बरसाना क्षेत्र में दो साइबर ठगों वसीम पुत्र सुब्बा निवासी ग्राम हाथिया थाना बरसाना तथा सैकम पुत्र असरून निवासी नसवारी थाना गोविंदगढ़ जिला अलवर को गिरफ्तार किया गया है, पुलिस ने इनके पास से चार एंड्रॉइड मोबाइल फोन, पांच वीआई कंपनी की इनएक्टिव सिम कार्ड, पांच एरटेल कम्पनी की इनएक्टिव सिम कार्ड, छह फर्जी आधार कार्ड, दो नटराज कंपनी के फर्जी एम्पलॉयी आईडी कार्ड, दो एफसीआई कंपनी के फर्जी एम्पलॉयी आईडी कार्ड, दो पेंशन विभाग के फर्जी एम्पलॉयी आईडी कार्ड, एक तमंचा बरामद किया है, मथुरा पुलिस ने इन दोनों साइबर ठगों की गिरफ्तारी के साथ ही इस पूरी कहानी को उजागर किया है ।
मथुरा पुलिस के आलाधिकारियों के मुताबिक इन दिनों कभी सोने की ईंट बेचने वाले ठग अब बहुत कुछ अलग कर रहे हैं, अब यह लोग फर्जी आईडी पर सिम निकलवाते हैं व गूगल से चावल, चीनी व स्क्रैप के सप्लायर का नम्बर प्राप्त करते हैं, फर्जी आईडी पर प्राप्त सिमों से इन नम्बरों पर सम्पर्क करते हैं तथा सस्ते दामों में चीनी, चावल व स्क्रैप आदि खरीद कराने के झांसे में ले लेते हैं, इन सप्लायरों को विश्वास में लेने के लिये अपनी फर्जी फर्म के कागजात एवं फर्जी आई कार्ड व्हाट्सएप के माध्यम से भेजते है, विश्वास होने पर एडवांस के रूप में इन लोगों से 50 हजार से एक लाख रुपये तक ऑनलाइन अपने खाते में डलवा लेते है ।
प्रभारी निरीक्षक थाना बरसाना अरुण कुमार बालियान के मुताबिक इन सप्लायरों को फर्जी गोदाम, फैक्ट्री के निरीक्षण के लिए बुलाते हैं, अन्य क्षेत्रों से आने वाले व्यक्तियों को एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन से रिसीव कर उन्हैं मेवात में बन्धक बनाकर मुंहमांगी रकम वसूलते हैं, विश्वास दिलाने के लिये फर्जी सरकारी आईडी कार्ड व्हाट्सएप के माध्यम से इन लोगों के भेज देते हैं जिससे लोग इनके झांसे में आकर ऑनलाइन एडवांस पेमेंट कर देते हैं, इसी क्रम में इंस्टाग्राम एप्प एवं अन्य सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर किसी कंपनी में नौकरी का झांसा देते हैं ।
पुलिस ने खुलासा किया है कि नटराज पेंसिल घर पर बैठकर पैक करने की नौकरी का झांसा देकर प्रचार प्रसार किया जाता है जिससे भोले भाले लोग झांसे में आकर दिये मोबाइल नम्बर पर सम्पर्क करते हैं, अभियुक्त लोगों से आधार कार्ड व 500 रुपये रजिस्ट्रेशन फीस के नाम पर ले लेते हैं, फिर फर्जी नटराज कंपनी की आईडी कार्ड बनाकर उसको व्हाट्सएप पर भेज देते हैं, व्हाट्सएप पर जो आधार कार्ड प्राप्त होते हैं, उनमें अपना फोटो बदलकर नकली आधार कार्ड बना लेते हैं जिसका इस्तेमाल फर्जी सिम कार्ड लेने व झांसे में आये लोगों को अपनी असली पहचान छिपाने के लिये फर्जी आधार कार्ड व बरामद नटराज आई डी कार्ड व्हाटसएप्प पर भेज देते है, रजिस्ट्रेशन फीस 500 रुपये मिल जाने के बाद अभियुक्त लोगों के घर पर नटराज कम्पनी के सामान (पेन, पेंसिल डिब्बे व अन्य पैकिंग सामान) को भेजने के नाम पर छह हजार रुपये डिलीवरी चार्ज के रूप में अपने फर्जी खातो में डलवाते हैं, पुलिस के मुताबिक गिरफ्तार दोनों अभियुक्त पूर्व में जिला अलवर राजस्थान से भी इसी प्रकार की घटना में जेल जा चुके है ।